महात्मा गांधी को बच्चों की निगाहों से समझने की भी ज़रूरत है। उनके विचारों, आदर्शों को आगे लेकर वही जाएँगे। आज गांधी जयंती पर पढ़िए उधम सिंह नगर के नानकमत्ता पब्लिक स्कूल में 11 वीं कक्षा के विद्यार्थी वंश मित्तल का यह लेख- ============================== “अहिंसा का मार्ग चुनो, क्योंकि यह …
Read More »स्त्री-जीवन के विभिन्न आयाम: अमृता प्रीतम की कहानियाँ
राजपाल एंड संज प्रकाशन से प्रकाशित ‘मेरी प्रिय कहानियाँ’ सीरिज़ के अंतर्गत प्रकाशित अमृता प्रीतम की कहानियों पर युवा लेखिका अनु रंजनी ने बहुत विस्तार से लिखा है। यह लेख मुझे इसलिए महत्वपूर्ण लगा क्योंकि अनु रंजनी उस पीढ़ी की लेखिका हैं जिन्होंने अमृता प्रीतम की …
Read More »‘धरती आबा’ भगवान बिरसा के गाँव उलिहातू से
बिरसा मुंडा के गाँव से लौटकर यह प्रसिद्ध लेखक विकास कुमार झा ने लिखा है। आप भी पढ़िए और महसूस कीजिए- ======================== ‘धरती आबा’ भगवान बिरसा के गाँव उलिहातू से आज ही लौटा हूं।झारखंड के खूंटी जिलान्तर्गत अड़की प्रखंड का यह बदनसीब गाँव पीने के पानी के लिए दशकों से …
Read More »कला की शमशीर पर विशुद्ध चेतना की धार
आज वरिष्ठ पेंटर-लेखक अखिलेश का जन्मदिन है। अभी हाल में ही सेतु प्रकाशन से किताब आई है ‘इस प्रकार: चित्रकार अखिलेश से संवाद’। इसी पुस्तक के बहाने पढ़िए वरिष्ठ लेखिका मनीषा कुलश्रेष्ठ की यह टिप्पणी- ============= वैसे मैं अच्छी किताबों और अच्छी चॉकलेट्स को लेकर अधीर बच्चे सी हूँ जो …
Read More »मेरी कथा कसौटी: रत्नेश्वर
हिंदी में साइंस फ़िक्शन की विधा को लोकप्रिय बनाने वाले लेखक रत्नेश्वर ने अपने लेखन की कसौटी, रचना प्रक्रिया के बारे में लिखा है। आप भी पढ़ सकते हैं- ======================== एक उपन्यासकार-कथाकार के रूप में मैंने स्वयं के लिए कुछ कसौटी तय कर रखी है. स्वलेखन में मैं कथा को …
Read More »मुआशरे को मुर्दा होने से बचाने वाली शायरी
कल जाने-माने शायर राजेश रेड्डी का जन्मदिन था। इस मौक़े पर पढ़िए मशहूर युवा शायर इरशाद ख़ान सिकन्दर का यह लेख, यह लेख पहले उर्दू में रावलपिंडी, पाकिस्तान से छपने वाली उर्दू पत्रिका ‘चहार सू’ के जनवरी 2023 अंक में प्रकाशित हुआ था, पत्रिका का यह अंक राजेश रेड्डी विशेषांक …
Read More »हरिशंकर परसाई के लेखन का स्त्री पक्ष
युवा लेखक पल्लव के संपादन में निकलने वाली पत्रिका ‘बनास जन’ का हर अंक संग्रहणीय होता है। इस बार इस पत्रिका का अंक प्रसिद्ध व्यंग्यकार हरिशंकर परसाई पर केंद्रित है। इसी अंक में प्रकाशित एक लेख पढ़िए। लिखा है अवंतिका शुक्ल ने, जो महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय में स्त्री …
Read More »भोजपुरी लोकोक्तियों में नारी
भोजपुरी भाषा की लोकोक्तियों में नारी विषय पर यह शोध आलेख भेजा है सुनीता मंजू ने। सुनीता सीवान में प्राध्यापिका हैं। आप लेख पढ़कर अपनी राय दीजिए- ================= जब लोक शब्द किसी शब्द के साथ जुड़ता है, तो अंतस में गुदगुदी होती है। लोक सहज, सरल संगीत की तरह जीवन …
Read More »पीटी ऊषा उर्फ मैडम बहुत सख्त हैं!
यौन शोषण के विरुद्ध जंतर मंतर पर प्रदर्शन कर रही महिला पहलवानों के संदर्भ में पीटी उषा के बयान के बहाने यह गम्भीर टिप्पणी लेखिका योगिता यादव ने की है। आप भी पढ़ सकते हैं- ===================== सब स्त्रियां एक सी नहीं होतीं, पुरुष भी सब एक से नहीं होते। इसके …
Read More »उम्र भर जिनको अक़ीदों ने लड़ाए रक्खा
आज ईद के मौक़े पर पढ़िए जनाब सुहैब अहमद फ़ारूक़ी का यह लेख। सभी को ईद मुबारक- ================================ वस्बिर फ़इन्नल्लाह ला युदीउ ‘अज्र अलमुहसिनीन। हज़रात! उपरोक्त क़ुर’सानी आयत का हिन्दुस्तानी में तर्जुमा इस प्रकार है:- ‘….और धीरज रखो! क्यूंकि ईश्वर भलाई करने वालों का इनआम बेकार नहीं होने देता।’ इस …
Read More »