शैलेन्द्र शर्मा पेशे से चिकित्सक हैं। 1980-90 के दशक में हिंदी की सभी पत्र-पत्रिकाओं में इनकी कहानियाँ प्रकाशित होती थीं, सराही जाती थीं। लम्बे अंतराल के बाद इन्होंने दुबारा लेखन शुरू किया है। जानकी पुल पर प्रकाशित यह उनकी दूसरी कहानी है- ======================================== स्टेशन पर सुमेधा और श्रुति पहले ही …
Read More »शैलेंद्र शर्मा की कहानी ‘पश्चिम में उगते पलाश’
शैलेन्द्र शर्मा पेशे से चिकित्सक हैं। एक जमाने में सारिका, धर्मयुग आदि प्रमुख पत्रिकाओं में इनकी कहानियाँ प्रकाशित हुई। एक जमाने बाद उन्होंने फिर से कहानी की दुनिया में वापसी की है। यह उनकी एक नई कहानी है- ===================== इस नमक की याद में एक दिन मैं बहुत रोया मेरे …
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