Recent Posts

भुवनेश्वर की एक दुर्लभ कहानी ‘मास्टरनी’

भुवनेश्वर के जन्म-शताब्दी के साल में उनकी एक लगभग गुमनाम कहानी प्रस्तुत है. १९३८ में प्रकाशित इस कहानी को देखिये अपने समय की रचनाओं से कितनी अलग संवेदना की कहानी है- जानकी पुल. मास्टरनी उस रोज सुबह से पानी बरस रहा था. साँझ तक वह पहाड़ी बस्ती एक अपार और …

Read More »

भुवनेश्वर की अंग्रेजी कविताएँ शमशेर का हिंदी अनुवाद

भुवनेश्वर ने कुछ कविताएँ अंग्रेजी में लिखी थी. बाद में जिनका हिंदी अनुवाद शमशेर बहादुर सिंह ने किया. दोनों शताब्दी कवि-लेखकों की यह जुगलबंदी प्रस्तुत है- जानकी पुल. 1. रुथ के लिए मगन मन पंख झड़ जाते यदि   और देखने वाली आँखे झप जाती हैं शाहीन के अंदर पानी …

Read More »

‘एब्सर्ड’ लेखक भुवनेश्वर की कुछ दुर्लभ कविताएँ

१९१० में पैदा हुए भुवनेश्वर की यह जन्मशताब्दी का साल है. ‘भेडिये’ जैसी कहानी और ‘ताम्बे के कीड़े’ जैसे ‘एब्सर्ड’ नाटक के इस रचयिता को हिंदी का पहला आधुनिक लेखक भी कहा जाता है. समय से बहुत पहले इस लेखक ने ऐसे प्रयोग किये बाद में हिंदी में जिसकी परम्परा …

Read More »